मंगलवार, 29 नवंबर 2022

*एचपीयू में फिर एक बार एबीवीपी का हल्ला बोल* *यूजी के परीक्षा परिणामों को लेकर एबीवीपी हुई उग्र* *यूजी के परीक्षा परिणामों में आ रही अनियमितताओं को लेकर एबीवीपी का धरना प्रदर्शन*

 



*एचपीयू में फिर एक बार एबीवीपी का हल्ला बोल*


*यूजी के परीक्षा परिणामों को लेकर एबीवीपी हुई उग्र*


*यूजी के परीक्षा परिणामों में आ रही अनियमितताओं को लेकर एबीवीपी का धरना प्रदर्शन*




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BHK NEWS HIMACHAL 

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय इकाई द्वारा आज विवि के ऐतिहासिक पिंक पैटल पर यूजी के परीक्षा परिणामों में आ रही अनियमितताओं को लेकर धरना प्रदर्शन किया गया | पिंक पैटल पर छात्रों को सम्बोधित करते हुए इकाई उपाध्यक्ष आशीष ने कहा कि यूजी के प्रथम वर्ष के परीक्षा परिणामों को लेकर विद्यार्थियों में अत्यंत रोष है और विवि में लगातार हो रहे धरने इसी बात का परिणाम है | उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय प्रशासन ने जब से ऑनलाइन प्रणाली विश्वविद्यालयमें लागू किया तब से विद्यार्थियों के परीक्षा परिणामों में अनियमितता सामने आ रही है | उन्होंने कहा कि हाल ही में यूजी के प्रथम वर्ष का जो परीक्षा परिणाम आया है उसमें अगर देखा जाए तो हिमाचल प्रदेश में लगभग 80 प्रतिशत से अधिक छात्र फेल कर दिए गए हैं | उन्होंने कहा कि विवि प्रशासन ने ऐसे समय पर परीक्षा परिणाम घोषित करा है जिस से कि छात्रों का भविष्य अधर में लटक गया है | छात्रों को 4 से 5 पेपरों में 1-1 नंबरों से फेल कर दिया गया है | उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के यूजी प्रथम वर्ष के खराब है नतीजों पर हुए बबाल के बाद बेशक कमेटी ने इसके कारणों का पता लगाने की जाँच शुरू कर दी है | मगर खराब नतीजो के लिए व्यवस्थागत खामियाँ, आवश्यक संसाधनों की कमी कहीं ना कहीं जिम्मेदार है | परीक्षा परिणामों को लेकर पूरे प्रदेश भर के छात्रों में विवि प्रशासन के प्रति भयंकर रोष है | 



 उन्होंने कहा कि 2013 में लागू किए गए रूसा सीबीसीएस के साथ ही यूजी के सभी संकायों में पर्यावरण विज्ञान विषय शुरू जरूर किया गया,  मगर आज तक किसी भी कॉलेज में इस विषय को पढ़ाने के लिए प्रोफेसर की नियुक्ति नहीं हुई है | यूजी प्रथम वर्ष के परिणामों में इसी विषय के अधिकतर छात्र फेल हुए हैं | डिग्री लेने के लिए इस विषय में छात्र का पास होना जरूरी किया गया है | शिक्षा विभाग, विश्वविद्यालय ने इस विषय को पढ़ाने के लिए कॉलेज में शिक्षक तक की व्यवस्था नहीं की | यह सब कॉलेजों पर छोड़ रखा है कि बिना शिक्षक के वे इस ईवीएस विषय को पढ़ाएं, विश्वविद्यालय सिर्फ उसे चेक करने की व्यवस्था देखेगा | सवाल यह है कि जब कॉलेजों में इस विषय को पढ़ाने वाला शिक्षक नहीं है तो इस विषय की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन विवि किस से करवाता आ रहा है |












आशीष ने विवि प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर आने वाले 7 दिनों में विवि प्रशासन यूजी के परीक्षा परिणामों में आ रही अनियमितताओं को जल्द से जल्द दुरुस्त नहीं करता है तो आने वाले समय में विद्यार्थी परिषद विवि के किसी भी अधिकारी को विवि के अंदर घुसने नहीं देगी और इस सब के लिए विवि प्रशासन जिम्मेदार रहेगा | 






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