*अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश* *सरदार पटेल विश्वविद्यालय का दायरा घटाना प्रदेश सरकार की शिक्षा के प्रति नकारात्मक सोच को दर्शाता है- आकाश नेगी* अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश मंत्री आकाश नेगी ने आज एक बयान जारी करते हुए कहा की प्रदेश की वर्तमान सरकार द्वारा 22 अगस्त को जो कैबिनेट की बैठक हुई और मीडिया से आई जानकारी के अनुसार प्रदेश सरकार सरदार पटेल विश्वविद्यालय के दायरे को घटाने का फैसला लिया है, उन्होंने कहा की यह शिक्षा के प्रति वर्तमान सरकार की नकारात्मक सोच को दर्शाता है और विश्वविद्यालय के अंतर्गत आने वाले पांच जिलों के छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ है। उन्होंने जानकारी देते हुए कहा की हिमाचल प्रदेश की सुक्खू सरकार ने सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी का दायरा घटाने का फैसला लिया है। कांगड़ा और चंबा जिला समेत निरमंड और आनी के कॉलेज हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला में शामिल कर दिए हैं। एसपीयू में स्टाफ की कमी के चलते 22 अगस्त को हुई कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है। मंडी विवि अब केवल तीन जिलों मंडी, लाहौल-स्पीति और कुल्लू (आनी, निरमंड के छोड़कर) के कॉलेजों तक ही सीमित रह जायेगा । मंडी में 1 अप्रैल 2022 से एसपीयू को शुरू किया था। इसमें मंडी, कुल्लू, लाहौल-स्पीति, कांगड़ा और चंबा के कॉलेज शामिल किए थे। एचपीयू के पास शिमला, सोलन, सिरमौर, हमीरपुर, ऊना, किन्नौर और बिलासपुर के कॉलेज रखे थे। बता दे की हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय पहले से ही अपने प्रवेश परीक्षा और परिणाम को ले कर हमेशा सुर्खियों में रहा है, वह इस समय जहा प्रदेश में दूसरे विश्वविद्यालय के कारण कार्य विभाजन से इन चीजों में तेजी लाई जा रही है वही प्रदेश की सरकार अपने बदले की राजनीति करने से पीछे नहीं हट रही हैं , छात्रहितो को अनदेखा करना सरकार का काम बन गया है | अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश इस फैसले की कड़ी निन्दा करती है वह कड़े शब्दो में ये मांग करती है की इस प्रकार की छात्रविरोधी फैसले को तुरंत वापस लिया जाए नही तो जो छात्र सरकार बनाने में महत्वपूर्ण साबित होते है वह सरकार गिरा भी सकते है, सरदार पटेल विश्वविद्यालय के साथ ऐसा सौतेला व्यवहार नहीं सहा जायेगा और इसका खामियाजा हिमाचल प्रदेश की सरकार को झेलना पड़ेगा |
*सरदार पटेल विश्वविद्यालय का दायरा घटाना प्रदेश सरकार की शिक्षा के प्रति नकारात्मक सोच को दर्शाता है- आकाश नेगी*
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश मंत्री आकाश नेगी ने आज एक बयान जारी करते हुए कहा की प्रदेश की वर्तमान सरकार द्वारा 22 अगस्त को जो कैबिनेट की बैठक हुई और मीडिया से आई जानकारी के अनुसार प्रदेश सरकार सरदार पटेल विश्वविद्यालय के दायरे को घटाने का फैसला लिया है, उन्होंने कहा की यह शिक्षा के प्रति वर्तमान सरकार की नकारात्मक सोच को दर्शाता है और विश्वविद्यालय के अंतर्गत आने वाले पांच जिलों के छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ है।
उन्होंने जानकारी देते हुए कहा की हिमाचल प्रदेश की सुक्खू सरकार ने सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी का दायरा घटाने का फैसला लिया है। कांगड़ा और चंबा जिला समेत निरमंड और आनी के कॉलेज हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला में शामिल कर दिए हैं। एसपीयू में स्टाफ की कमी के चलते 22 अगस्त को हुई कैबिनेट की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है।
मंडी विवि अब केवल तीन जिलों मंडी, लाहौल-स्पीति और कुल्लू (आनी, निरमंड के छोड़कर) के कॉलेजों तक ही सीमित रह जायेगा । मंडी में 1 अप्रैल 2022 से एसपीयू को शुरू किया था। इसमें मंडी, कुल्लू, लाहौल-स्पीति, कांगड़ा और चंबा के कॉलेज शामिल किए थे। एचपीयू के पास शिमला, सोलन, सिरमौर, हमीरपुर, ऊना, किन्नौर और बिलासपुर के कॉलेज रखे थे।
बता दे की हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय पहले से ही अपने प्रवेश परीक्षा और परिणाम को ले कर हमेशा सुर्खियों में रहा है, वह इस समय जहा प्रदेश में दूसरे विश्वविद्यालय के कारण कार्य विभाजन से इन चीजों में तेजी लाई जा रही है वही प्रदेश की सरकार अपने बदले की राजनीति करने से पीछे नहीं हट रही हैं , छात्रहितो को अनदेखा करना सरकार का काम बन गया है |
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद हिमाचल प्रदेश इस फैसले की कड़ी निन्दा करती है वह कड़े शब्दो में ये मांग करती है की इस प्रकार की छात्रविरोधी फैसले को तुरंत वापस लिया जाए नही तो जो छात्र सरकार बनाने में महत्वपूर्ण साबित होते है वह सरकार गिरा भी सकते है, सरदार पटेल विश्वविद्यालय के साथ ऐसा सौतेला व्यवहार नहीं सहा जायेगा और इसका खामियाजा हिमाचल प्रदेश की सरकार को झेलना पड़ेगा |
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